अंधे कत्ल की गुत्थी सुलझी
नाम आरोपी:- 1. विश्वनाथ चौधरी पिता स्व0 रामलखन चौधरी उम्र 43 वर्ष निवासी सा0 ग्राम शिवपुर थाना राजपुर जिला बलरामपुर-रामानुजगंज हाल मुकाम घुटरापारा मायापुर अम्बिकापुर जिला सरगुजा (छ0ग0) 2. उमा गुप्ता पति स्व0 विरेन्द्र कुमार गुप्ता उम्र 34 वर्ष सा0 ठनगनपारा मायापुर अम्बिकापुर जिला सरगुजा (छ0ग0)
– राजन सिंह चौहान –
एमसीबी, मनेन्द्रगढ़।मामले का संक्षिप्त विवरण इस प्रकार है कि दिनांक 22.07.2024 को सूचक विजय सिंह आ. धनीराम उम्र 45 वर्ष निवासी जलपोसपारा बिहारपुर थाना सिटी कोतवाली मनेन्द्रगढ़ का मर्ग इंटीमेशन चाक कराया कि बिहारपुर मेन रोड़ के किनारे सरई जंगल के पास किसी अज्ञात व्यक्ति का शव पडा है कि रिपोर्ट पर तत्काल बिहारपुर पहुचकर देखा गया कि एक अज्ञात व्यक्ति का शव सड़क किनारे पड़ा है जिसके गर्दन, सिर, एवं गाल पर किसी धारदार हथियार से मारने से गहरा निशान है जो प्रथम दृष्टया हत्या कारित करना प्रतीत होने से तत्काल वरिष्ठ अधिकारियों को अवगत कराया गया। थाना सिटी कोतवाली में अपराध क्रमांक 249/2024 धारा 103(1) बी.एन.एस. कायम विवेचना में लिया गया एवं अज्ञात शव की पहचान हेतु इस्तिहार जारी किया गया एवं सोशल मिडिया के माध्यम से प्रचार प्रसार किया गया। कि दिनांक 25.07.2024 को उमा गुप्ता पति विरेन्द्र गुप्ता ठनगनपारा मायापुर अम्बिकापुर अपने भाई एवं देवर के साथ थाना सिटी कोतवाली मनेन्द्रगढ़ में उपस्थित आकर अज्ञात शव की पहचान इसके पति विरेन्द्र कुमार गुप्ता निवासी चरगढ़ थाना राजपुर जिला बलरामपुर हाल मुकाम ठनगनपारा मायापुर अम्बिकापुर के रूप में कि अज्ञात शव की पहचान होने पर वरिष्ठ अधिकारियों को अवगत कराया गया। पुलिस महानिरीक्षक महोदय सरगुजा रेंज सरगुजा अंकित गर्ग एवं पुलिस अधीक्षक जिला एमसीबी चन्द्रमोहन सिंह के निर्देशन एवं अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अशोक वाडेगांवकर के मार्गदर्शन एवं पुलिस अनुविभागीय अधिकारी ए. टोप्पो के नेतृत्व में विशेष टीम गठित कर प्रकरण की जांच सूक्ष्मता एवं तकनीकी सहायता के माध्यम से कि जाने लगी जांच दौरान हत्या करने वाले का कनेक्शन अम्बिकापुर से होना पाये जाने पर विशेष टीम रवाना होकर अम्बिकापुर पहुचकर संदेही विश्वनाथ चौधरी निवासी घुटरापारा मायापुर अम्बिकापुर को अपने गिरफ्त में लेकर कडाई से पुछताछ करने पर बताया कि मृतक विरेन्द्र गुप्ता से पूर्व परचित था तथा उसके घर आना जाना लगे रहता था। विरेन्द्र गुप्ता वर्ष 2022 मे जेल में बंद था इस बीच मैं तथा मृतक की पत्नी उमा गुप्ता हमदोनों आपसी सहमति से बिना किसी को बताये वर्ष 2022 में मंदिर में शादी कर लिये थे उमा गुप्ता मुझकों हमेशा बोलती थी कि इसका पति विरेन्द्र कुमार गुप्ता मारपीट करता है अपने पति के साथ नहीं रहना चाहती हॅू इसे जल्द से जल्द रास्ते से हटाओं। मेरे तथा उमा गुप्ता के द्वारा विरेन्द्र कुमार गुप्ता को जान से मारने हेतु सही समय का इंतजार किये जाने लगा कि दिनांक 21.07.2024 को विरेन्द्र कुमार गुप्ता मेरे को बोला कि किसी काम से जनकपुर जाना है तुम अपनी कार एस.एल.6 को लेकर चलो तो मैं जनकपुर जाने के लिये तैयार हो उसी बीच उमा गुप्ता के द्वारा फोन कर बोला गया कि आज अच्छा मौका है आज इसका काम तमाम कर देना तो मैं अपने घर से फरसा निकाल कर अपने गाडी में रखा लिया तथा कुछ देर बाद हम दोनों अम्बिकापुर से लगभग 02 से 03 बजे दोपहर को जनकपुर के लिये निकले। जनकपुर से वापसी के दौरान मैं विरेन्द्र गुप्ता को अपनी गाडी में शराब पिलाते आ रहा था कि बिहारपुर के जंगल में विरेन्द्र कुमार गुप्ता पेशाब करने के लिये गाडी रूकवाया और रोड़ किनारे पेशाब करने लगा इसी बीच मैं अपने गाडी में रखा फरसा से विरेन्द्र कुमार गुप्ता के गर्दन, सिर, एवं गाल पर जोरदार प्रहार किया जिससे उसकी मृत्यु हो गई और मैं अपनी गाडी लेकर वहा से भाग गया कुछ देर बाद उमा गुप्ता को फोन कर बताया कि काम हो गया है।
इस तरह विशेष टीम की कडी लगन मेहनत से अंधे कत्ल की गूत्थी सुलझी। सम्पूर्ण कार्यवाही में निरीक्षक अमित कश्यप उप निरीक्षक सत्येन्द्र सिंह सउनि अभिषेक पाण्डेय, राकेश शर्मा, नईम अख्तर प्र.आर. इस्तायक खान, पुष्कल सिन्हा, प्रिंस राय, राकेश शर्मा आरक्षक जितेन्द्र ठाकुर, भूपेन्द्र यादव, राकेष तिवारी, सुमित भारती, रोशन उके, प्रदीप लकड़ा महिला आरक्षक इषिता श्रीवास्तव की महत्वपूर्ण भूमिका रही।